पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मंगलवार को राज्य विधानसभा को बताया कि लोगों का अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) का दर्जा तय करने का एकमात्र मानदंड पिछड़ापन है। उन्होंने कहा कि कुछ लोग सोशल मीडिया पर गलत सूचना का अभियान चला रहे हैं।
उन्होंने कहा कि किसी भी व्यक्ति को ओबीसी श्रेणी में शामिल करने का निर्णय धर्म से नहीं लिया जाना चाहिए। बनर्जी ने कहा कि राज्य में ओबीसी का दर्जा तय करने के लिए एकमात्र मानदंड पिछड़ापन है। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा गठित एक आयोग इस श्रेणी में शामिल करने के लिए 50 नए उपवर्गों पर सर्वेक्षण कर रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि ओबीसी-ए श्रेणियों के तहत 49 उपवर्गों और ओबीसी-बी श्रेणियों के तहत 91 उपवर्गों को शामिल किया गया है। उन्होंने कहा कि अधिक पिछड़े वर्ग के लोगों को ओबीसी-ए के तहत शामिल किया गया है, जबकि कम पिछड़े लोग ओबीसी-बी के तहत आते हैं।