छत्तीसगढ़ में नक्सलियों के गढ़ के भीतर केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) का एक नया अड्डा स्थापित करते समय माओवादियों की गोली का शिकार हुआ केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) का एक ‘कोबरा’ कमांडो अर्द्धसैनिक बल के उन सात कर्मियों में शामिल हैं जिन्हें ‘शौर्य चक्र’ वीरता पदक से सम्मानित किया गया है। माओवादियों की गोली का शिकार होने से पहले कमांडो बटालियन फॉर रेजोल्यूट ऐक्शन (कोबरा) के कमांडो ने अदम्य साहस का परिचय दिया था। ‘201 कोबरा बटालियन’ के कांस्टेबल पवन कुमार और उनके साथी कांस्टेबल देवन सी. को बृहस्पतिवार को राष्ट्रपति भवन में आयोजित रक्षा अलंकरण समारोह के दौरान मरणोपरांत सैन्य पदक से सम्मानित किया गया। देश के सबसे बड़े अर्द्धसैनिक बल को वामपंथी उग्रवाद (एलडब्ल्यूई) क्षेत्र में किए गए दो अभियानों के लिए बहादुरी के अलंकरण प्रदान किए गए। इनमें से एक अभियान में पांच कर्मी और अन्य में दो कर्मी मारे गए थे।
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